:: मंत्र :: या कुन्देन्दुतुषारहारधवला या शुभ्रवस्त्रावृता ।
या वीणावरदण्डमण्डितकरा या श्वेतपद्मासना ॥ या ब्रह्माच्युत शंकरप्रभृतिभिर्देवैः सदा वन्दिता ।
सा मां पातु सरस्वती भगवती निःशेषजाड्यापहा ॥ :: वंदना :: हे हंसवाहिनी ज्ञानदायिनी ।
अम्ब विमल मति दे। अम्ब विमल मति दे ॥ हे हंसवाहिनी ज्ञानदायिनी ।
वह बल विक्रम दे। वह बल विक्रम दे ॥ हे हंसवाहिनी ज्ञानदायिनी ।
अम्ब विमल मति दे। अम्ब विमल मति दे ॥ साहस शील हृदय में भर दे ।
जीवन त्याग-तपोमर कर दे ॥ संयम सत्य स्नेह का वर दे ।
स्वाभिमान भर दे। स्वाभिमान भर दे ॥ हे हंसवाहिनी ज्ञानदायिनी ।
अम्ब विमल मति दे। अम्ब विमल मति दे ॥ माता लक्ष्मी की आरती – Mata Lakshmi Ki Aarti … Click here … Shri Sarswati Vandana |